Bhagalpur News: चैत्र नवरात्रि सनातन धर्म का एक महत्वपूर्ण पर्व है, जो मां दुर्गा को समर्पित होता है. भागलपुर शहर में चैत्र नवरात्र पर मंगलवार को देवी दुर्गा के तीसरे स्वरूप चन्द्रघण्टा देवी की पूजा-अर्चना की गई. बुधवार को माता के देवी के चौथे स्वरूप मां कूष्मांडा देवी और माता के पांचवें स्वरूप स्कंदमाता की पूजा की जाएगी. बुधवार को दो पूजा होने के कारण कालीबाड़ी और दुर्गाबाड़ी में पांचमी तिथि होने के साथ ही शंख-घंटे की ध्वनि और बंगाल के ढांक की थाप के साथ मां दुर्गा की प्रतिमा वेदी पर स्थापित की जाएगी.
नवरात्र को लेकर दुर्गासप्तशती के पाठ से मंदिर परिसर गुंजायमान हो रहा है. मंदिरों में आरती करने वाली महिला श्रद्धालुओं की भीड़ तिलकामांझी, मिरजानहाट सहित अन्य मंदिरों में लगी रही. शहीद भगत सिंह चौक स्थित संकट मोचन दरबार में मंदिर के पंडित दिनेश चन्द्र झा के नेतृत्व में संपुट पाठ किया जा रहा है.
बॉलीवुड की ताजा खबरों के लिए यहां क्लिक करें
उन्होंने बताया कि आचार्य पंडित चन्द्रशेख झा की देखरेख में 11 पंडितों द्वारा बारी-बारी से धाराप्रवाह संपुट पाठ किया जा रहा है. तिल्कामांझी चौक स्थित बजरंगबली मंदिर परिसर दुर्गा मंदिर में पंडित आनंद झा ने दुर्गा सप्तशती का पाठ किया. पंडित गौतम झा द्वारा यहां दुर्गासप्तशती का संपुट पाठ किया जा रहा है.
तिलकामांझी मंदिर में दुर्गा की प्रतिमा तीन अप्रैल को वेदी पर स्थापित की जाएगी. बूढ़ानाथ मंदिर में विश्व कल्याण के लिए पंडित शंभुनाथ झा दुर्गा सप्तशती का संपुट पाठ कर रहे हैं. देवी बाबू धर्मशला में श्रीराम कथा का नौ दिवसीय आयोजन चल रहा है. यहां राम दरबार की मूर्ति स्थापित कर प्रतिदिन नवाह्पारायण का पाठ और अयोधाम से पधारे आचार्य राम नयन शास्त्री जी महाराज श्रीराम कथा पर प्रवचन दे रहे हैं.
जिच्छो दुर्गा मंदिर में मंदिर के पुजारी पंडित शरद चन्द्र झा दुर्गा सप्तशती का पाठ कर रहे हैं. जवारीपुर चैती दुर्गा मंदिर, मानिकपुर दुर्गा मंदिर, मिरजानहाट दुर्गा मंदिर, कालीबाड़ी, दुर्गाबाड़ी, संकट मोचन दरबार, बूढ़ानाथ मंदिर सहित अन्य मंदिरों व घरों में दुर्गासप्तशती का पाठ किया जा रहा है.
कालीबाड़ी-दुर्गाबाड़ी में आज और तिलकामांझी में कल स्थापित होगी प्रतिमा
कालीबाड़ी-दुर्गाबाड़ी मंदिर में बुधवार को वैदिक मंत्रोच्चार के साथ वेदी पर प्रतिमा स्थापित की जाएगी. कालीबाड़ी पूजा कमिटी के महासचिव विलास कुमार बागची ने बताया कि बंगाल के ढांक की थाप पर पंचमी तिथि आपे के साथ ही बांग्ला विधि-विधान के साथ प्रतिमा वेदी पर स्थापित की जाएगी. दुर्गाबाड़ी पूजा कमिटी के सचिव सुजय सर्वाधिकारी ने बताया कि बुधवार पंचमी के दिन संध्या 6 बजे मां दुर्गा की प्रतिमा वेदी पर स्थापित की जाएगी.
सप्तमी से नवमी तक अलग-अलग भोग लगाए जाएंगे. निरूपम कांतिपाल ने बताया कि सप्तमी को खिचड़ी, दो प्रकार की सब्जी, पांच प्रकार के भाजी चटनी मिठाई खीर का भोग लगाया जाएगा. तिलकामांझी चौक स्थित महावीर मंदिर में गुरुवार तीन अप्रैल को विधि-विधान के साथ वेदी पर माता की प्रतिमा स्थापित की जाएगी.