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Tuesday, July 15, 2025
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Bhagalpur Crime: घायलों से मदद के बजाय लूट! स्कॉर्पियो दुर्घटना के बाद बदमाशों ने की छिनतई

लोहिया पुल की बदली जाएगी लाइट
लोहिया पुल की बदली जाएगी लाइट

Bhagalpur Crime: भागलपुर के नाथनगर थाना क्षेत्र के भुआलपुर पेट्रोल पंप के पास गुरुवार शाम हादसे के बाद हैरान कर देने वाली वारदात हुई. सुलतानगंज से लौट रही स्कॉर्पियो के पलटते ही जहां लोगों को मदद की दरकार थी, वहीं कुछ स्थानीय बदमाशों ने घायलों से लूटपाट शुरू कर दी. विरोध करने पर एक युवक को जबरन उठा लिया गया. सूचना पर पहुंची पुलिस ने अपहृत युवक को बगीचे से बरामद कर लिया, लेकिन लुटेरा पुलिस से भी हाथ छुड़ाकर भाग निकला.

एक्सीडेंट के बाद मची अफरातफरी

भागलपुर से सुलतानगंज लौट रही सात युवकों से भरी स्कॉर्पियो गुरुवार शाम करीब चार बजे अनियंत्रित होकर भुआलपुर पेट्रोल पंप के पास पलट गई. इसी दौरान कुछ स्थानीय बदमाश वहां पहुंचे और घायलों की मदद करने के बजाय उनसे चार मोबाइल फोन छीन लिये. विरोध करने पर बदमाशों ने एक युवक को जबरन उठाकर पास के बगीचे में ले गये. कुछ घायलों ने बदमाशों का पीछा भी किया. इसी बीच पुलिस पहुंच गई और एक बदमाश को पकड़ लिया.

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हवलदार की अंगुली में काट लिया दांत

गश्ती दल ने जब आरोपी को थाने लाने का प्रयास किया, तो उसने जीप का गेट खोल भागने की कोशिश की. हवलदार बैजनाथ सिंह ने उसे पकड़ने की कोशिश की, लेकिन रत्ना ने उसकी अंगुली दांत से काट ली और फरार हो गया. पुलिस ने आरोपी के पास से छीने गये चार मोबाइल बरामद कर लिये हैं. उसके दो साथी पहले ही फरार हो चुके थे.

मोबाइल खरीदने आये थे भागलपुर, लौटते वक्त हुआ हादसा

घायलों ने बताया कि वे सभी सुलतानगंज के रहनेवाले हैं और एक दोस्त का मोबाइल खरीदने भागलपुर आये थे. सुबह 10 बजे घर से निकले और शाम 4 बजे लौटते वक्त हादसा हुआ. स्कॉर्पियो पलटते ही लूटपाट शुरू हो गई. हालांकि, कुछ लोग अपहरण की पुष्टि कर रहे हैं, तो कुछ इसे अफवाह बता रहे हैं. पुलिस ने घायलों को मायागंज अस्पताल भेजा है और मामले की जांच में जुटी है.

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Bhagalpur News: 99 की उम्र में भी सेवा का संकल्प अटूट, पद्मश्री डॉ दिलीप सिंह का जन्मदिन उत्सव में बदला

लोहिया पुल की बदली जाएगी लाइट
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Bhagalpur News: पद्मश्री डॉ दिलीप कुमार सिंह ने गुरुवार को अपना 99वां जन्मदिन धूमधाम से मनाया. हैप्पी वैली विद्यालय समूह के संस्थापक और ‘पोलियो मैन’ के नाम से प्रसिद्ध डॉ सिंह के जन्मोत्सव पर पीरपैंती स्थित उनके आवास व विद्यालयों में सांस्कृतिक कार्यक्रमों की छटा बिखरी. इस अवसर पर उनके स्वस्थ और दीर्घायु जीवन की कामना के साथ 99 दीप जलाये गये, 99 गरीबों को भोजन कराया गया और उपहार भी वितरित हुए.

सेवा और संघर्ष से रचा गया है 99 वर्षों का यह प्रेरणादायक जीवन

डॉ दिलीप कुमार सिंह का आरंभिक जीवन अत्यंत साधारण रहा. मात्र 19 वर्ष की उम्र में मां को खोने के बाद उन्होंने हर कठिनाई को आत्मबल से पार किया. भारत और अमेरिका से चिकित्सा की उच्च शिक्षा ली. विदेशों में कई प्रतिष्ठित अस्पतालों में कार्य किया, लेकिन सेवा का संकल्प उन्हें गांव पीरपैंती खींच लाया. 1954 से 1974 तक कुष्ठ रोगियों का इलाज किया और फिर हजारों गरीब मरीजों के मुफ्त मोतियाबिंद ऑपरेशन कराये. 1980 में रूस से ओरल पोलियो वैक्सीन मंगवाकर गांव के बच्चों को पोलियो से बचाया. इसी कार्य के लिए उन्हें ‘पोलियो मैन’ की उपाधि मिली.

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स्वतंत्रता संग्राम सेनानी से लेकर समाज सुधारक तक की भूमिका

डॉ सिंह ने स्वतंत्रता संग्राम में भी भाग लिया और सच्चे देशभक्त के रूप में पहचान बनायी. युवाओं को नशे से मुक्त करने के लिए भी उन्होंने अभियान छेड़ा, जिसे इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में मान्यता मिली. उनकी जीवन यात्रा में उनकी पत्नी का समर्थन हमेशा प्रेरणास्रोत बना रहा.

चौथी पीढ़ी भी चिकित्सा सेवा में सक्रिय

आज उनके पुत्र डॉ संजय कुमार सिंह, बहू डॉ प्रतिभा सिंह, पौत्र डॉ जय सिद्धार्थ सिंह और पौत्रवधू डॉ मोनिका सिसोदिया भी चिकित्सा के क्षेत्र में सेवा दे रहे हैं. डॉ सिंह के पिता डॉ यमुना प्रसाद सिंह ने 1924 में जो सेवा की नींव रखी थी, वह आज चौथी पीढ़ी में भी जारी है. डॉ दिलीप कुमार सिंह का जीवन न केवल चिकित्सा जगत, बल्कि पूरे समाज के लिए प्रेरणास्रोत है.

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भव्य होगी जगन्नाथ रथयात्रा: आज सुबह से पूजा-अर्चना, शाम को गाजे-बाजे के साथ निकलेंगे भगवान

लोहिया पुल की बदली जाएगी लाइट
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Bhagalpur News: आषाढ़ शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा गुरुवार को भगवान जगन्नाथ एकांतवास से बाहर आये और भक्तों को दर्शन दिये. शुक्रवार को पूरे शहर में पारंपरिक उल्लास और भक्ति के साथ रथयात्रा निकाली जायेगी. जगन्नाथ मंदिरों में अलसुबह से ही विशेष पूजा-अर्चना का सिलसिला शुरू होगा और शाम को भव्य तरीके से भगवान की रथ यात्रा निकाली जायेगी. इसे लेकर तैयारियां पूरी कर ली गई हैं.

रथ यात्रा नया बाजार, सखीचंद घाट रोड, गिरधारी साह हाट, बाटा गली और चंपानगर-नाथनगर के मंदिरों से निकाली जायेगी. पूरे नगर में सुरक्षा व श्रद्धा का माहौल रहेगा.

पुष्पवर्षा और वैदिक मंत्र के साथ सजेंगे रथ

नया बाजार स्थित जगन्नाथ मंदिर के पुजारी सौरभ मिश्रा ने बताया कि शुक्रवार को संध्या 5:30 बजे पंडित समीर कुमार मिश्रा के नेतृत्व में रथयात्रा निकाली जायेगी. 11 पंडितों के वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच भगवान का भव्य श्रृंगार कर आरती और मिठाई का भोग लगाया जायेगा. फूल-मालाओं से सजे रथ में रस्सी बांध दी गई है.

यात्रा नया बाजार से शुरू होकर बूढ़ानाथ चौक, खलीफाबाग चौक, वेरायटी चौक, स्टेशन चौक होते हुए मंदिर लौटेगी. यह परंपरा सदियों पुरानी है, जिसमें भगवान बलराम व सुभद्रा के साथ रथ पर मौसी के घर जाते हैं और नौ दिनों तक वहीं रहते हैं.

सुबह चार बजे से बाटा गली मंदिर में विशेष अनुष्ठान

सूजागंज के बाटा गली स्थित मंदिर से भी रथ यात्रा निकाली जायेगी. यहां पूजा सुबह 4 बजे से शुरू हो जायेगी. पंडित सुशील मिश्रा व मुकेश मिश्रा के नेतृत्व में भगवान को 4:30 बजे विशेष अन्न भोग अर्पित किया जायेगा, जिसमें चावल, दाल, सब्जी, मीठा पुलाव व खीर शामिल रहेगा. यह साल का एकमात्र दिन होता है, जब सुबह भगवान को अन्न भोग लगाया जाता है. 5 बजे से सर्वदर्शन सुलभ हो जायेगा और दोपहर 12 बजे तक पूजा के बाद मंदिर के पट बंद कर दिये जायेंगे.

इसके बाद भगवान के विग्रह को रथ पर विराजमान कर विष्णु सहस्त्रनाम पाठ, मंगल आरती और रस्सा बंधन के साथ रथयात्रा शुरू होगी.

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श्रद्धालुओं की व्यवस्था में जुटे समिति सदस्य

रथयात्रा की सफलता के लिए आयोजन समिति के कैलाशनाथ वाजपेयी, हिमांशु कुमार, प्रदीप श्रीवास्तव, चंद्रशेखर पांडेय, रंजीत मंडल, गोविंद शर्मा, विकास शर्मा आदि लगातार जुटे हुए हैं. पूरे आयोजन को पारंपरिक और शुद्ध वैदिक रीति से संपन्न कराने के लिए व्यापक स्तर पर तैयारियां की गई हैं.

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Bihar News: गहरे पानी में डूबा बचपन, मिरहट्टी में 16 वर्षीय किशोर की दर्दनाक मौत

Bhagalpur News: भागलपुर के सुल्तानगंज प्रखंड के मिरहट्टी गांव में गुरुवार को एक दर्दनाक हादसे में 16 वर्षीय किशोर की पोखर में डूबने से मौत हो गई. मृतक की पहचान कैलाश कुमार के रूप में हुई है, जो डब्लू यादव का पुत्र था. बताया गया कि वह दोपहर में गांव के ‘चुटिया पोखर’ में भैंस निकालने गया था. इसी दौरान वह गहरे पानी में फंस गया और डूब गया. जब तक परिजन मौके पर पहुंचे और उसे बाहर निकाला गया, तब तक उसकी जान जा चुकी थी. घटना के बाद पूरे गांव में मातम का माहौल है.

गहरे पानी ने छीन लिया इकलौता चिराग, गांव में पसरा मातम

गुरुवार की दोपहर करीब दो बजे की बात है. मिरहट्टी गांव का 16 वर्षीय किशोर कैलाश कुमार हमेशा की तरह गांव के चुटिया पोखर की ओर भैंस निकालने गया था. पानी में उतरते हुए वह धीरे-धीरे गहरे हिस्से में चला गया. तभी उसका संतुलन बिगड़ा और वह डूबने लगा. उसके साथ मौजूद एक बच्चे ने यह देख परिजनों को सूचना दी.

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परिजन आनन-फानन में पोखर की ओर दौड़े. ग्रामीणों की मदद से कैलाश को बाहर निकाला गया लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी. मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भागलपुर भेज दिया.

पंचायत के मुखिया अशोक यादव ने घटना को बेहद दुखद बताया और परिजनों को हरसंभव सरकारी सहायता दिलाने का आश्वासन दिया.

कैलाश की मौत से उसके घर में कोहराम मचा हुआ है. मां-बाप बेसुध हैं और गांव भर में शोक का माहौल है. ग्रामीणों का कहना है कि पोखर में किसी तरह की सुरक्षा व्यवस्था नहीं थी. ऐसे में इस हादसे ने प्रशासन की लापरवाही पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं.

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Bengaluru: रील की आखिरी रिकॉर्डिंग बनी जिंदगी की आखिरी पल, 13वीं मंजिल से गिरकर मौत

13वीं मंजिल से गिरकर मौत
13वीं मंजिल से गिरकर मौत

Bengaluru Reel Accident: बेंगलुरु में एक 20 वर्षीय युवती की दर्दनाक मौत ने सोशल मीडिया की सनक और असावधानी के खतरों को फिर उजागर कर दिया है. देर रात दोस्तों के साथ पार्टी कर रही युवती कथित तौर पर एक “Sad Reel” बना रही थी, तभी अचानक फिसलकर निर्माणाधीन इमारत की 13वीं मंजिल से नीचे गिर पड़ी. हादसे में युवती की मौके पर ही मौत हो गई. मूल रूप से बिहार की रहने वाली यह युवती बेंगलुरु के एक शॉपिंग मार्ट में काम करती थी.

पार्टी, रील और फिर हादसा: रील शूट करते वक्त फिसली युवती

घटना परप्पन अग्रहारा इलाके की है, जहां युवती अपने दोस्तों के साथ एक अधूरी इमारत में पार्टी करने गई थी. पुलिस के मुताबिक, दोस्तों के बीच प्रेम संबंधों को लेकर किसी बात पर बहस हुई, जिसके बाद युवती ने “Sad Reel” बनाना शुरू किया. उसी दौरान वह लिफ्ट शाफ्ट में गिर गई. हादसे के बाद उसके दोस्त मौके से फरार हो गए.

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पुलिस जांच जारी, प्रेम प्रसंग की आशंका

साउथ ईस्ट बेंगलुरु की डीसीपी फातिमा ने बताया कि यह हादसा इमारत की छत पर रील बनाते समय हुआ. प्रेम संबंध विवाद की जांच की जा रही है, हालांकि अभी तक कुछ स्पष्ट नहीं है. मामले को अप्राकृतिक मृत्यु के रूप में दर्ज किया गया है और परप्पन अग्रहारा पुलिस जांच में जुटी है.

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पहले भी हो चुके हैं ऐसे हादसे

इससे पहले बिहार के बेगूसराय में भी एक युवक की रील बनाते हुए मौत हो चुकी है. 22 वर्षीय युवक बाइक चलाते हुए रील बना रहा था, तभी एक बुजुर्ग को बचाने के प्रयास में वह अनियंत्रित होकर पेड़ से टकरा गया. युवक को अस्पताल ले जाया गया, लेकिन डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया.

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‘खून बहेगा या पानी?’– बिलावल भुट्टो जरदारी की गीदड़भभकी पर भारत ने दिया करारा जवाब

Bilawal Bhutto Zardari
Bilawal Bhutto Zardari

Pakistan Water Crisis: सिंधु जल संधि पर भारत के फैसले से बौखलाए पाकिस्तान में बिलावल भुट्टो जरदारी ने एक बार फिर जंग की गीदड़भभकी दी है. उन्होंने कहा कि अगर भारत ने पानी रोका तो पाकिस्तान सभी छह नदियों पर कब्जा करेगा और युद्ध से पीछे नहीं हटेगा. इस पर भारत ने बेहद ठोस और सधा हुआ जवाब दिया. जलशक्ति मंत्री सीआर पाटिल ने कहा, “पानी कहीं नहीं जाएगा, जो बोलना है बोलते रहो.” भारत का यह रुख साफ संकेत देता है कि अब आतंक और अनुबंध साथ-साथ नहीं चल सकते.

सिंधु जल संधि पर भारत का सख्त फैसला, पाकिस्तान को मिर्ची

22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने जो पांच बड़े फैसले लिए, उनमें सबसे ज़्यादा असर सिंधु जल संधि को निलंबित करने का हुआ. पाकिस्तान तभी से तिलमिलाया हुआ है. पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी प्रमुख बिलावल भुट्टो जरदारी इस मुद्दे को हर मंच पर उठा रहे हैं और भारत को युद्ध की धमकी तक दे चुके हैं.

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‘खून बहेगा या पानी’ – बिलावल की भड़काऊ भाषा

मंगलवार को बिलावल ने कहा, “अगर भारत संधि को नहीं मानेगा, तो पाकिस्तान सभी छह नदियों से पानी लेगा. भारत या तो संधि बहाल करे या जंग के लिए तैयार हो जाए.” इससे पहले भी उन्होंने कहा था, “या तो उनका खून बहेगा या पानी बहेगा.”

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भारत का सधा हुआ जवाब, डराने की कोशिशों पर विराम

सीआर पाटिल ने कहा, “ऐसी गीदड़भभकियों से हम डरते नहीं हैं. मगर कुछ बातें समय पर ही अच्छी लगती हैं, इसलिए जवाब भी समय पर ही देना उचित है.” केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पहले ही कह चुके हैं कि सिंधु जल समझौता अब बहाल नहीं किया जाएगा. ऐसे में पाकिस्तान की बेचैनी और धमकियां उसकी असहायता को ही दिखा रही हैं.

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Air India Plane Crash: हादसे से ठीक पहले कॉकपिट में क्या हुआ था? ब्लैक बॉक्स से मिला अहम सुराग

Air India Plane Crash Report
Air India Plane Crash Report

Air India Plane Crash: 13 जून 2025 को अहमदाबाद में हुए एयर इंडिया फ्लाइट AI-171 हादसे की जांच में बड़ा अपडेट सामने आया है. नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने पुष्टि की है कि क्रैश के दोनों ब्लैक बॉक्स से डाटा सफलतापूर्वक निकाल लिया गया है. अब उस डाटा का गहन विश्लेषण किया जा रहा है, जिससे यह पता चल सके कि हादसे के वक्त पायलटों की बातचीत और विमान के तकनीकी सिस्टम में क्या चल रहा था.

हादसे के तुरंत बाद बनी विशेषज्ञ टीम, अंतरराष्ट्रीय मानकों पर हो रही जांच

विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) ने हादसे के फौरन बाद एक विशेषज्ञ समिति गठित की. इस टीम में विमानन चिकित्सा विशेषज्ञ, एयर ट्रैफिक कंट्रोल अधिकारी और अमेरिका के NTSB (नेशनल ट्रांसपोर्टेशन सेफ्टी बोर्ड) के विशेषज्ञ शामिल हैं, क्योंकि हादसाग्रस्त विमान अमेरिका निर्मित था. जांच पूरी पारदर्शिता और अंतरराष्ट्रीय नियमों के तहत की जा रही है.

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कैसे मिले ब्लैक बॉक्स और कहां रखा गया

  • कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर (CVR) 13 जून को एक इमारत की छत से बरामद हुआ.
  • फ्लाइट डाटा रिकॉर्डर (FDR) 16 जून को मलबे से निकाला गया.
  • दोनों ब्लैक बॉक्स को अहमदाबाद में पुलिस सुरक्षा और CCTV निगरानी में सुरक्षित रखा गया.
  • 24 जून को भारतीय वायुसेना के विशेष विमान से दोनों डिवाइस दिल्ली स्थित AAIB लैब भेजे गए.

डाटा एनालिसिस शुरू, सामने आ सकता है बड़ा खुलासा

24 जून की शाम से ही AAIB और NTSB की तकनीकी टीमों ने डाटा निकालने की प्रक्रिया शुरू की और 25 जून तक मेमोरी मॉड्यूल से पूरा डाटा सफलतापूर्वक डाउनलोड कर लिया गया. अब विशेषज्ञ यह जांच कर रहे हैं कि हादसे से पहले कॉकपिट में कौन सी बातचीत हुई, विमान की गति, ऊंचाई, सिस्टम अलर्ट्स आदि क्या संकेत दे रहे थे. जांच का उद्देश्य यह पता लगाना है कि हादसे से पहले विमान में क्या गतिविधियां चल रही थीं और क्या तकनीकी या मानवीय त्रुटि इसकी वजह बनी.

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अंतरिक्ष से देशवासियों को किया लाइव वीडियो कॉल, शुभांशु बोले– ‘अब बच्चे की तरह चलना सीखूंगा’

शुभांशु शुक्ला ने अंतरिक्ष से देशवासियों को किया लाइव वीडियो कॉल
शुभांशु शुक्ला ने अंतरिक्ष से देशवासियों को किया लाइव वीडियो कॉल

Shubhanshu Shukla Axiom 4: भारतीय वायुसेना के ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला जैसे ही Axiom-4 मिशन के तहत अंतरिक्ष पहुंचे, उन्होंने वीडियो कॉल के ज़रिए देशवासियों को संबोधित किया. शून्य गुरुत्वाकर्षण में खुद को ढालते हुए उन्होंने अपने अनुभव साझा किए और भावुक अंदाज़ में कहा कि यह यात्रा सिर्फ उनकी नहीं, पूरे देश की है. शुक्ला ने इस मिशन को भारत के मानव अंतरिक्ष कार्यक्रम के लिए मील का पत्थर बताया. यह 41 साल बाद पहला मौका है, जब कोई भारतीय अंतरिक्ष यात्री अंतरिक्ष में पहुंचा है.

फ्लोरिडा से भरी उड़ान, स्पेसएक्स ड्रैगन में सवार होकर निकले मिशन पर

उत्तर प्रदेश के लखनऊ में जन्मे ग्रुप कैप्टन शुभांशु शुक्ला ने अमेरिका के फ्लोरिडा स्थित नासा के कैनेडी स्पेस सेंटर से गुरुवार सुबह भारतीय समयानुसार दोपहर 12 बजे उड़ान भरी. उनका यह सफर स्पेसएक्स के फाल्कन 9 रॉकेट और एक नए ड्रैगन स्पेसक्राफ्ट के माध्यम से संभव हुआ. इस मिशन में उनके साथ अमेरिका की अनुभवी अंतरिक्ष यात्री और कमांडर पैगी व्हिटसन, पोलैंड के स्लावोज उज्नान्स्की-विज्निएव्स्की और हंगरी के टिबोर कपू भी शामिल हैं.

वीडियो कॉल में जताई भावनाएं, तिरंगे की ताकत का किया जिक्र

अंतरिक्ष से किए गए लाइव वीडियो कॉल में शुभांशु ने कहा, “मैं अब जीरो ग्रैविटी की आदत डाल रहा हूं. जैसे कोई बच्चा चलना सीख रहा हो. मैं इस अनुभव का आनंद ले रहा हूं. तिरंगा मुझे हमेशा यह याद दिलाता है कि आप सभी मेरे साथ हैं.” उन्होंने कहा कि यह भारत के मानव अंतरिक्ष कार्यक्रम और गगनयान मिशन की दिशा में एक अहम कदम है.

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41 साल बाद फिर अंतरिक्ष में भारतीय

शुभांशु शुक्ला 1984 में राकेश शर्मा के बाद अंतरिक्ष में पहुंचने वाले दूसरे भारतीय हैं. उन्होंने उड़ान के दौरान देशवासियों को संदेश भेजते हुए कहा था, “नमस्ते मेरे प्यारे देशवासियों. क्या सफर है! हम 7.5 किलोमीटर प्रति सेकंड की रफ्तार से पृथ्वी की परिक्रमा कर रहे हैं. यह केवल मेरी नहीं, पूरे भारत की यात्रा है. मैं तिरंगा अपने साथ लेकर चला हूं.”

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राजनीति में नई पारी की तैयारी, बिंदु गुलाब यादव होंगी VIP में शामिल, झंझारपुर से लड़ सकती हैं चुनाव

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Bihar Election: बिहार की राजनीति में एक और युवा चेहरा सक्रिय होने जा रहा है. मधुबनी जिला परिषद की अध्यक्ष बिंदु गुलाब यादव अब औपचारिक रूप से राजनीति में कदम रखने जा रही हैं. पूर्व विधायक गुलाब यादव की बेटी बिंदु मुकेश सहनी की पार्टी विकासशील इंसान पार्टी (VIP) की सदस्य बनेंगी. संभावना जताई जा रही है कि वे झंझारपुर विधानसभा सीट से चुनाव लड़ सकती हैं, जहां से उनके पिता 2015 में विधायक रह चुके हैं.

खास बात यह है कि जिला परिषद चुनाव में बिंदु को राष्ट्रीय जनता दल (राजद) ने समर्थन दिया था, लेकिन अब वे VIP के साथ नये राजनीतिक सफर की शुरुआत करेंगी.

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मैनेजमेंट की डिग्री लेकर आयीं राजनीति में, बनीं सबसे युवा चेयरमैन

बिंदु गुलाब यादव ने पुणे यूनिवर्सिटी से एमबीए की पढ़ाई की है. 29 साल की उम्र में उन्होंने राजनीति में कदम रखा और झंझारपुर प्रखंड के जिला परिषद क्षेत्र संख्या 49 से चुनाव लड़ा. यहां उन्होंने कई वरिष्ठ नेताओं के समर्थित उम्मीदवारों को मात देते हुए जीत दर्ज की और मधुबनी जिला परिषद की चेयरमैन बनीं. बिहार में वे सबसे कम उम्र की जिला परिषद अध्यक्ष मानी जाती हैं.

राजनीतिक पृष्ठभूमि से आने वाली बिंदु की मां अंबिका यादव भी पूर्व में निर्दलीय एमएलसी रह चुकी हैं, जबकि उनके पिता गुलाब यादव झंझारपुर से विधायक रह चुके हैं.

पिता गुलाब यादव पर चल रही है ईडी की जांच

हालांकि बिंदु की राजनीतिक राह आसान नहीं मानी जा रही. उनके पिता और पूर्व विधायक गुलाब यादव इस समय प्रवर्तन निदेशालय (ED) की जांच के घेरे में हैं. करीब एक वर्ष से वे ईडी की हिरासत में हैं और उन पर करोड़ों रुपये की बेनामी संपत्ति बनाने का आरोप है. गुलाब यादव को ईडी ने आईएएस संजीव हंस के साथ इस मामले में सह आरोपी बनाया है.

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पीएम मोदी की मंजूरी से झरिया को राहत, संशोधित मास्टर प्लान को हरी झंडी, 5940 करोड़ होंगे खर्च

पलानी-सिंदरी को मिलेगा शिक्षा का तोहफा
पलानी-सिंदरी को मिलेगा शिक्षा का तोहफा

Union Cabinet Decision: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति ने झारखंड के झरिया कोयला क्षेत्र के लिए एक बड़ा फैसला लिया है. झरिया में वर्षों से जारी आग और भू-धंसान की समस्या से निपटने और हजारों प्रभावित परिवारों के सुरक्षित पुनर्वास के लिए संशोधित झरिया मास्टर प्लान (JMP) को मंजूरी दे दी गई है. इस योजना पर कुल 5940.47 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे और इसे चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा, ताकि आग और जमीन धंसने जैसी घटनाओं से प्रभावित परिवारों को बेहतर और सुरक्षित जीवन मिल सके.

2009 में बनी थी मूल योजना, अब संशोधन के साथ दोबारा मिली हरी झंडी

झरिया मास्टर प्लान की शुरुआत 2009 में 7112.11 करोड़ रुपये के बजट के साथ की गई थी, जिसकी मियाद 2021 में समाप्त हो गई. अब केंद्र सरकार ने इस योजना को नए स्वरूप में मंजूरी दी है. इस योजना में कोयला खनन क्षेत्र में रह रहे बीसीसीएल कर्मचारियों के पुनर्वास की जिम्मेदारी बीसीसीएल पर है, जबकि गैर-बीसीसीएल परिवारों को झरिया पुनर्वास एवं विकास प्राधिकरण (JRDA) द्वारा पुनर्वासित किया जाएगा. इससे प्रभावित परिवारों को सुरक्षित स्थान पर बसाने का काम तेज़ी से होगा.

आजीविका, स्किल और बुनियादी सुविधाओं पर रहेगा फोकस

संशोधित मास्टर प्लान में केवल पुनर्वास नहीं, बल्कि आजीविका सृजन पर भी विशेष बल दिया गया है. प्रत्येक पुनर्वासित परिवार को ₹1 लाख का आजीविका अनुदान मिलेगा, साथ ही वैध व गैर-वैध भू-स्वामियों को ₹3 लाख तक का संस्थागत ऋण दिया जाएगा. पुनर्वास क्षेत्रों में सड़क, बिजली, पानी, स्कूल, अस्पताल, सीवरेज और कौशल विकास केंद्र जैसी सभी बुनियादी सुविधाएं विकसित की जाएंगी.

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झरिया वैकल्पिक आजीविका पुनर्वास कोष भी बनेगा

पुनर्वासित लोगों की आर्थिक आत्मनिर्भरता को ध्यान में रखते हुए “झरिया वैकल्पिक आजीविका पुनर्वास कोष” की स्थापना की जाएगी. इस फंड के जरिए स्किल डेवलपमेंट संस्थानों के सहयोग से युवाओं को प्रशिक्षित कर रोजगार के अवसर भी दिए जाएंगे. इससे पुनर्वास सिर्फ ठिकाना नहीं, बल्कि जीवनस्तर में सुधार का माध्यम भी बनेगा.

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