Bhagalpur News: बिहार केभागलपुर का लाइफलाइन कहलाने वाला एनएच 80 की सड़क सिर्फ टुकड़ों में बनी है. दो साल से काम चल रहा है और यह अबतक पूरा नहीं हुआ है.
Bhagalpur News: बिहार केभागलपुर का लाइफलाइन कहलाने वाला एनएच 80 की सड़क सिर्फ टुकड़ों में बनी है. दो साल से काम चल रहा है और यह अबतक पूरा नहीं हुआ है. भागलपुर से कहलगांव तक का सफर आज की तारीख में दुश्वारियों में तब्दील है. लोगों के आंखों में धूल झोंकते इस मार्ग में गड्ढा ज्यादा सड़क कम है. ठेकेदार ने दो साल में जितनी दूर तक सड़क बनायी नहीं है, उससे कहीं ज्यादा इस पर गड्ढे हैं. सिंगल सड़क है. छोड़-छोड़ कर सड़क बनाने से चलने में दिक्कत हो रही है. दुर्घटना की संभावना बनने लगी है.
दरअसल, जिस-जिस जगह पर पीसीसी सड़क बनी है, वहां फ्लैक नहीं रहने से गाड़ियां पांच फीट गड्ढों में पलटने का खतरा बना है. सड़क बनाने का काम पूरा करने का समय नवंबर में ही खत्म हो गया है.
हाइवे का निर्माण दो साल में 40 फीसदी हुआ है और बाकी 60 फीसदी बनाने के लिए जुलाई तक का दावा किया गया है.
02 साल का डेडलाइन हुआ फेल, बाबूपुर में बन रही सड़क
हाइवे बनाने के दो साल का डेडलाइन जब फेल हुआ तो शहर से सटकर बाबूपुर मोड़ में निर्माण कराया जा रहा है. बाकी जगहों पर सड़क बनना तो दूर, कई पुल-पुलिया तक नहीं बन सका है. सबौर में पुलिया बनाने के लिए सिर्फ गड्ढा खोदा गया है. यहां सिंगल रोड से गाड़ियां आ-जा रही है. दूसरी पुलिया सबौर से बाहर बना है लेकिन इसके दोनों तरफ सड़क नहीं बनी है. तीसरी पुलिया के पास भी सिंगल रोड है.
यहां एक लेन नीचा तो दूसरा लेन ढलाई की वजह से ऊंचा रहने के कारण चलने में मुश्किल हो रही है. इससे आगे चौथा पुलिया अधूरी है और सड़क भी नहीं बनी है. पांचवें पुलिया के पास भी कुछ यही हाल है.
02 साल से बन रहे पुल का अब तक फाउंडेशन तक तैयार नहीं
भागलपुर-कहलगांव मार्ग में दो साल से बन रहे पुल का अबतक फाउंडेशन तक तैयार नहीं हुआ है. यह सब काम कम और बहानेबाजी के फेर में फंसा है. पुल का निर्माण इंगलिश मोड़ के पास कराया जा रहा है.
आठ साल बाद भी शुरू नहीं हुआ मसाढ़ू पुल का निर्माण कार्य
भागलपुर-मिर्जाचौकी हाइवे पर मसाढ़ृ नाम का पुल है और इसको ध्वस्त करने के आठ साल बाद भी निर्माण का कार्य शुरू नहीं हो सका है. मसाढ़ू में 150 साल पुराना पुल में दरार वर्ष 2016 में आया था और इसके बाद इसको ध्वस्त करा दिया गया था. तब पुल निर्माण के लिए सात करोड़ की राशि निर्धारित की गई थी. बाद में इस प्रोजेक्ट को विड्रा कर लिया गया और मुंगेर-मिर्जाचौकी के बीच 39 करोड़ से सड़क का निर्माण पलक इंफ्रा नामक पटना की एजेंसी से कराया गया. इस एजेंसी से भी मसाढ़ू पुल का निर्माण नहीं कराया. अब यह नयी एजेंसी से सड़क बनवायी जा रही है लेकिन, वह भी अबतक मसाढ़ू पुल का निर्माण कार्य शुरू नहीं कर सका है.
मसाढ़ू से ममलखा के बीच बना दी गयी ऊंची सड़क
मसाढ़ूू से लेकर ममलखा तक ऊंची सड़क बना दी गई है. पुरानी सड़क तोड़कर नहीं बनायी गयी है, उसी पर ढलाई कर दी जा गयी है. नाला का निर्माण भी सड़क से काफी ऊंचा किया गया है. इस कारणवश सड़क किनारे बसे लोगों का घर सड़क से नीचे हो गया है और बरसाती पानी से परेशानियों का सामना करना पड़ेगा. ममलखा में तो यह हाल है कि एक साथ पुलिस पिकेट, स्कूल, पानी टंकी और मंदिर सड़क से काफी नीचे हो गया है.
बोले एग्जीक्यूटिव इंजीनियर
टुकड़ों में हाइवे बनाने के एवज में ठेका एजेंसी को नोटिस दी जा रही है और उनसे कहा जा रहा है कि एक साथ सभी जगहों पर सड़क बनाकर प्रोजेक्ट को पूरा करे. डीसीएलआर के यहां से कुछ लोगों को पेमेंट नहीं हुआ है, इस वजह से डायवर्सन नहीं बन सका है. यही कारण भी है कि मसाढ़ू पुल का काम शुरू नहीं हुआ है.-बृजनंदन कुमार, एग्जीक्यूटिव इंजीनियरराष्ट्रीय उच्च पथ प्रमंडल, भागलपुर