Rajdhani Express में टूटी सांसें
Rajdhani Express: राजधानी एक्सप्रेस में उस वक्त मातम पसर गया जब एक BSF जवान की पत्नी ने इलाज के लिए दिल्ली जाते समय रास्ते में ही दम तोड़ दिया. मृतका काजल कुमारी (28 वर्ष), धोबहा थाना क्षेत्र के सलेमपुर गांव निवासी अभिजीत ओझा की पत्नी थीं. परिजनों ने सिलीगुड़ी के एक निजी अस्पताल के डॉक्टर पर इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया है, जिससे काजल की जान चली गई. इस हृदयविदारक घटना के बाद मृतका के गांव में कोहराम मच गया है.
मृतका के चचेरे देवर मुन्ना दुबे ने बताया कि काजल को नौ माह पहले सीबीडी स्टोन की समस्या हुई थी, जिसके बाद पटना के एक निजी अस्पताल में उनका ऑपरेशन किया गया था. उस समय काजल गर्भवती थीं. ऑपरेशन करने वाले डॉक्टर ने उनके शरीर में एक स्टैंड लगाया था और बच्चे के जन्म के बाद उसे निकलवाने की सलाह दी थी.
मुन्ना दुबे ने आगे बताया कि काजल के पति, जो BSF में कांस्टेबल हैं और वर्तमान में असम के सिलीगुड़ी में तैनात हैं, ऑपरेशन के बाद काजल को अपने साथ वहीं ले गए थे. सिलीगुड़ी में डॉक्टरों की सलाह पर काजल ने स्टैंड निकलवा लिया.
स्टेंट निकलवाने के कुछ दिनों बाद ही काजल की तबीयत बिगड़ने लगी और उनके फेफड़ों में पानी भर गया. उनकी गंभीर हालत को देखते हुए 19 अप्रैल को सिलीगुड़ी के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उन्हें वेंटिलेटर पर भी रखा गया.
परिजनों का आरोप है कि सिलीगुड़ी स्थित निजी अस्पताल के डॉक्टर ने लापरवाही बरतते हुए काजल का ठीक से इलाज नहीं किया, जिसके कारण उनकी तबीयत लगातार बिगड़ती गई. आखिरकार, परिजन उन्हें राजधानी एक्सप्रेस से दिल्ली ले जा रहे थे, लेकिन पटना के पास चलती ट्रेन में ही काजल ने अंतिम सांस ली.
ट्रेन में काजल की मौत के बाद परिजनों में कोहराम मच गया. उन्होंने शव को पटना जंक्शन पर उतारा और एंबुलेंस से काजल के मायके, कोईलवर थाना क्षेत्र के पचरुखिया कला गांव ले गए.
इसके बाद परिजन शव को आरा सदर अस्पताल ले गए, जहां सूचना मिलने पर पुलिस पहुंची और शव का पोस्टमार्टम कराया. मृतका के चचेरे देवर मुन्ना दुबे ने सिलीगुड़ी के निजी अस्पताल के डॉक्टर पर इलाज में लापरवाही के कारण मौत का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की मांग की है. पुलिस मामले की गहन जांच कर रही है.
काजल कुमारी का विवाह 28 फरवरी 2018 को हुआ था. उनके दो बच्चे हैं – एक पुत्र आयांश और एक पुत्री आवेशी. इस दुखद घटना के बाद पूरे परिवार में शोक की लहर दौड़ गई है और बच्चों का मां का साया छिन गया है. परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है.